सेंसेक्स और निफ्टी में गिरावट IT-ऑटो शेयर दबाव में हफ्ते के चौथे कारोबारी दिन यानी गुरुवार को शेयर बाजार में हल्की गिरावट देखी गई। सेंसेक्स लगभग 100 अंक टूटकर 83480 के स्तर पर कारोबार कर रहा है जबकि निफ्टी 30 अंक लुढ़ककर 25460 पर पहुंच गया। सेंसेक्स के 30 में से 20 शेयरों में तेजी और 10 में गिरावट है। टाटा स्टील बजाज फाइनेंस और पावर ग्रिड के शेयरों में बढ़त है जबकि इंफोसिस टाटा मोटर्स और TCS में गिरावट दर्ज की गई है। निफ्टी के 50 में से 30 शेयर चढ़े हैं। रियल्टी बैंकिंग और मेटल सेक्टर में तेजी है लेकिन IT ऑटो मीडिया और फार्मा शेयरों में दबाव बना हुआ है। 📬 पोस्ट ऑफिस टाइम डिपॉजिट पर 7.5% ब्याज ब्याज दरें बरकरार सरकार ने जुलाई से सितंबर (Q2FY26) के लिए स्मॉल सेविंग स्कीम्स की ब्याज दरों में कोई बदलाव नहीं किया है। पोस्ट ऑफिस की नेशनल सेविंग्स टाइम डिपॉजिट अकाउंट में निवेश करने पर 1 से 5 साल के लिए 7.5% तक ब्याज मिल रहा है। यह निवेशकों के लिए एक स्थिर और सुरक्षित विकल्प माना जा रहा है खासतौर पर उन लोगों के लिए जो फिक्स्ड डिपॉजिट में पैसा लगाना चाहते हैं। 💻 एनवीडिया बनी दुनिया की पहली 4 ट्रिलियन डॉलर मार्केट कैप वाली कंपनी अमेरिकी सेमीकंडक्टर चिप निर्माता कंपनी एनवीडिया का मार्केट कैप 9 जुलाई को 4 ट्रिलियन डॉलर (लगभग 343 लाख करोड़ रुपए) के पार पहुंच गया है। कंपनी के शेयरों में 2% से ज्यादा की तेजी आई और इन्होंने 164.42 डॉलर (लगभग 14091 रुपए) का ऑल टाइम हाई बनाया। मार्केट कैप के लिहाज से एनवीडिया के बाद माइक्रोसॉफ्ट (3.72 ट्रिलियन डॉलर) और एपल (3.11 ट्रिलियन डॉलर) का नंबर आता है। 👩💼 X की CEO लिंडा याकारिनो ने दिया इस्तीफा अब मस्क की AI कंपनी xAI से जुड़ेंगी सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म X की CEO लिंडा याकारिनो ने दो साल की सेवा के बाद इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने इसकी घोषणा X पर पोस्ट शेयर कर की। अब वे एलन मस्क की AI कंपनी xAI के साथ काम करेंगी। हालांकि उन्होंने अपने नए रोल का खुलासा नहीं किया। बतौर CEO लिंडा ने कम्युनिटी नोट्स जैसे फीचर्स और यूजर सिक्योरिटी में महत्वपूर्ण बदलाव किए थे। 🌐 भारत में सैटेलाइट इंटरनेट देने के लिए स्टारलिंक को मिली मंजूरी एलन मस्क की कंपनी स्टारलिंक को भारत में हाई-स्पीड सैटेलाइट इंटरनेट सेवा शुरू करने की सभी रेगुलेटरी मंजूरियां मिल गई हैं। यह देश की तीसरी ऐसी कंपनी है जिसे यह लाइसेंस मिला है। इससे पहले वनवेब और रिलायंस जियो को यह स्वीकृति मिल चुकी है। स्टारलिंक के सैटेलाइट पृथ्वी के नजदीक घूमते हैं जिससे दूर-दराज़ और ग्रामीण इलाकों में भी तेज़ और स्थिर इंटरनेट उपलब्ध हो सकेगा। सुरक्षा कारणों से लाइसेंस मिलने में देरी हुई थी लेकिन अब कंपनी को हरी झंडी मिल गई है।