सर्द हवाओं ने बढ़ाई ठिठुरन आग तापते नजर आये लोग हड़ताल के कारण हमारा मानदेय ना रोका जायें आशा कार्यकर्ताओं के दूसरे संगठन ने ज्ञापन सौंप रखी मांग नि:शक्त बालिका रईसुन खान को दी गई ट्राईसिकल बालाघाट में नये साल के साथ मौसम ने करवट बदला है। गत दो दिनों से सुबह से ही दिन भर मौसम ढंका रहने व सर्द हवाओं ने ठिठुरन बढ़ा दी है। जिले के वनांचल क्षेत्र बैहर बिरसा परसवाड़ा व उकवा में तापमान में गिरावट के चलते ठंड से लोगों का घर से निकलना दूभर हो रहा है। बुधवार को सुबह से बदली छाई रही और दिन भर ठंडी हवायें चलती रही। दोपहर ३ बजे हल्की बारिश भी हुई जिससे आम जनजीवन प्रभावित हुआ। मौसम सुबह से ही खराब होने से धान खरीदी केन्द्रों में खरीदी प्रभावित हुई है। ठंड से बचने के लिए लोग घरों में व चौक चौराहों में अलाव जलाकर आग तापते नजर आये। आशा उषा सहयोगिनी कार्यकर्ता संघ के नेतृत्व में जिले की आधा सैकड़ा से अधिक आशा उषा और सहयोगिनी कार्यकर्ताओं ने सीएचएमओ कार्यालय पहुंचकर आशा कार्यकर्ताओं के एक संगठन द्वारा की जा रही अनिश्चितकालीन हड़ताल के चलते मानेदय न रोका जाये और हमें पूरा मानदेय दिया जाए व जिस गांव का प्रकरण जिला चिकित्सालय आता है उसी गांव की आशा कार्यकर्ता के माध्यम से उसे सेवा देने के निर्देश दिये जाने की मांग की है। इस दौरान आशा कार्यकर्ताओ की हड़ताल से उन्होंने स्वयं को अलग बताते हुए कहा कि लालबर्रा ब्लॉक की आशा कार्यकर्ताओं के अलावा हम जिले के ९ ब्लॉकों की आशा कार्यकर्ता हड़ताल में शामिल नहीं है और हमारा मानदेय हमें नियमित रूप से मिल रहा है। कलेक्ट्रेट कार्यालय में ०३ जनवरी २०२३ को आयोजित जनसुनवाई में नगरीय क्षेत्र बालाघाट के वार्ड नंबर-१३ बुढ़ी सागौन वन के निवासी मोहम्मद बशीर खान एवं जुलेखा बी अपनी ३० साल की नि:शक्त बेटी रईसुन खान को लेकर पहुचे थे। रईसुन के माता-पिता ने कलेक्टर डॉ गिरीश कुमार मिश्रा को बताया कि उनकी बेटी चल-फिर नहीं सकती है और उसे एक तरह से लकवा जैसा हो गया है। वह चलने-फिरने के लिए माता-पिता पर ही आश्रित है और उसे कहीं भी उठाकर ले जाना होता है। कलेक्टर डॉ मिश्रा ने बालिका रईसुन की परेशानी देखकर तत्काल सामाजिक न्याय विभाग की ओर से उसे ट्रायसिकल दिलवायी और उसके माता-पिता को समझाया कि ट्रायसिकल मिलने से बालिका अपने घर आंगन में बिना किसी मदद के घूम-फिर सकेगी और उसे बार-बार उठाकर नहीं ले जाना होगा। जिले में इन दिनों सोसायटियों में समर्थन मूल्य पर धान की खरीदी की जा रही है। इस वर्ष शासन द्वारा किसानों की धान को स्लाट बुकिंग कराने के बाद खरीदी जा रही है। स्लाट बुकिंग की अंतिम तिथि ५ जनवरी निर्धारित की गई है लेकिन धान खरीदी केन्द्रों में लिमिट फुल होने के चलते स्लाट बुकिंग नहीं होने से अभी भी किसान परेशान हो रहे है। ग्रामीण अंचलों में सर्वर की समस्या होने से भी किसान स्लाट बुक कराने के लिए परेशान होते रहे है। शासन द्वारा धान खरीदी की तिथि १६ जनवरी तक निर्धारित की गई है। किसानों की स्लाट बुक होने के बाद उन्हें उनकी उपज को खरीदी केन्द्रों में विक्रय करने के लिए करीब एक सप्ताह का समय दिया जाता है। उस बीच किसान अपनी धान को बेच सकता है। अब तक ८० प्रतिशत किसानों की धान की खरीदी हो चुकी है। किसानों व सोसायटी प्रबंधकों ने शासन से स्लाट बुक कराने की तिथि व खरीदी की लिमिट बढ़ाने मांग की है जिससे सभी किसानों की धान की खरीदी समर्थन मूल्य पर हो सकें। जिले से लगभग १०० किमी दूर स्थित बिरसा धान खरीदी केंद्र का निरीक्षण कलेक्टर एवं बैंक प्रशासक डा. गिरीश कुमार मिश्रा के निर्देशानुसार आर.सी. पटले मुख्य कार्यपालन अधिकारी जिला सहकारी केंद्रीय बैंक मर्यादित बालाघाट द्वारा पी.जोशी प्रबंधक लेखा के साथ ४ जनवरी बुधवार को किया गया इस दौरान प वर्तमान में हुए मौसम के बदलाव को लेकर सभी धान खरीदी केंद्रो के जवाबदार समिति व शाखा के कर्मचारियों को निर्देशित किया गया कि वे खरीदी केंद्र में रखी धान के माकूल सुरक्षा का ध्यान रखे। ताकि मौसम के कारण धान को कोई नुकसान न हो। लालबर्रा मुख्यालय से ८ किमी. दूर स्थित ग्राम पंचायत नेवरगांव में मरार माली समाज के तत्वाधान में रतन बाहेश्वर के निवास में ३ जनवरी की शाम माता सावित्रीबाई फुले की १९२ वी जयंती बड़े ही धूमधाम के साथ में मनाई गई। इस अवसर पर सर्वप्रथम ज्योतिबा फूले व माता सावित्रीबाई फूले जी के छायाचित्र के समक्ष पूजन-अर्चन कर उन्हें नमन करते हुए उनके बताये मार्ग पर चलने का संकल्प लिया गया। इस दौरान मंचासीन अतिथियों का सामाजिक बंधुओं के द्वारा स्वागत किया गया जिसके पश्चात अतिथि के रूप में मौजूद बकोड़ा सरपंच पुष्पा नागेश्वर ने माता सावित्री बाई फुले के जीवन चरित्र पर प्रकाश डालते हुये कहा कि सावित्री फूले पहली महिला शिक्षिका थी जिन्होंने महिलाओं को शिक्षित और जागरूक करने में सबसे कठिन संघर्ष और प्रयास किया।