Hindi News Agency,Public Search Engine, Public directory - Express Media Service
ट्रेंडिंग
28-Oct-2025

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के दौरे को लेकर पुलिस विभाग ने सुरक्षा तैयारियां तेज कर दी हैं। आज एडीजी दीपांशु काबरा की अगुवाई में सभी जिलों के एसपी एएसपी आईजी एसएसपी और एडिशनल एसपी रैंक के अधिकारियों की बैठक हुई। एडीजी काबरा ने बताया कि पीएम की सुरक्षा व्यवस्था को लेकर वरिष्ठ अधिकारियों की ड्यूटी तय कर दी गई है। विशेष सुरक्षा योजना के तहत 5 से अधिक आईजी 12 डीआईजी और करीब 2000 पुलिस जवान तैनात रहेंगे। फोर्स की तैनाती 29 अक्टूबर से नवा रायपुर में शुरू होगी। छत्तीसगढ़ की धर्मनगरी राजिम जिसे प्रदेश का प्रयागराज कहा जाता है इन दिनों छठ पर्व की भक्ति में डूबी है। महानदी पैरी और सोंढूर नदियों के त्रिवेणी संगम एनीकट घाट पर सैकड़ों व्रती महिलाओं ने सूर्य देव की आराधना की।उत्तर भारतीय परिवारों के साथ स्थानीय छत्तीसगढ़ी महिलाएं भी फल ठेकुआ और गन्ने के साथ घाट पहुंचीं और परिवार की सुख-समृद्धि की कामना की। अस्त होते सूर्य को अर्घ्य देने के बाद भक्ति गीतों और जागरण का आयोजन होगा जबकि कल उगते सूर्य को अर्घ्य देकर व्रत का समापन किया जाएगा। भव्य आयोजन के लिए प्रशासन और सामाजिक संगठनों ने सफाई सुरक्षा और रोशनी की विशेष व्यवस्था की है। व्रती महिलाओं ने कहा—छठ मैया की कृपा से परिवार में सुख-शांति बनी रहे यही हमारी कामना है मुख्यमंत्री विष्णु देव साय ने चुनाव आयोग की एसआईआर (स्पेशल इन्क्वायरी रिपोर्ट) प्रक्रिया को सराहनीय कदम बताया है। उन्होंने कहा कि एसआईआर प्रक्रिया एक अच्छा कदम है और हम चुनाव आयोग के फैसले का स्वागत करते हैं।मुख्यमंत्री ने इसे चुनाव प्रक्रिया को और अधिक पारदर्शी व निष्पक्ष बनाने की दिशा में उठाया गया सकारात्मक कदम बताया। राजधानी में वक्फ बोर्ड की कथित मनमानी के खिलाफ विश्व हिंदू परिषद और बजरंग दल ने जोरदार विरोध प्रदर्शन किया। बड़ी संख्या में पदाधिकारी और कार्यकर्ता वक्फ बोर्ड कार्यालय के बाहर एकत्र होकर नारेबाजी करते हुए घेराव करने पहुंचे।प्रदर्शनकारियों का आरोप है कि वक्फ बोर्ड हिंदू परिवारों की जमीनों को अपने नाम दर्ज कराने की कोशिश कर रहा है। हाल ही में रायपुर के पांच हिंदू परिवारों को जमीन खाली करने का नोटिस भेजे जाने के बाद आक्रोश बढ़ गया है। विहिप और बजरंग दल के नेताओं ने कहा कि वक्फ बोर्ड की यह कार्रवाई किसी भी हाल में स्वीकार नहीं की जाएगी और इसे तुरंत रोका जाना चाहिए। उन्होंने राज्य सरकार से मामले में हस्तक्षेप की मांग की है। संगठन ने चेतावनी दी कि यदि नोटिस वापस नहीं लिए गए तो आंदोलन को और तेज किया जाएगा।