* जबलपुर प्रदेश व्यापी हस्ताक्षर अभियान 11 जुलाई 2023* प्रदेश के समस्त नगरीय निकायों के कर्मचारियों की विभिन्न मांगों पर सहमति के बाद भी सरकार ने निराकरण नहीं किया है। संगठन द्वारा अपनी मानगो को लेकर 11 जुलाई को प्रांत व्यापी हस्ताक्षर अभियान चलाया जा रहा है। जिसमें जबलपुर नगर निगम इकाई का कर्मचारी संगठन भी भाग लेगा। जबलपुर में एक बार फिर वाहन चेकिंग अभियान यातायात पुलिस शुरू करने जा रही है...जिसे लेकर आज कंट्रोल रूम में पुलिस अधीक्षक टीके विद्यार्थी ने बैठक की... इस दौरान एडिशनल एसपी प्रदीप शिंडे सहित यातायात विभाग और पुलिस की टीम मौजूद रही.. एडिशनल एसपी प्रदीप शिंदे ने बताया कि एक बार फिर शहर में वाहन चेकिंग अभियान शुरू किया जाएगा ...साथी स्कूल कॉलेजों में जाकर यातायात नियमों के प्रति जागरूकता अभियान भी चलाया जाएगा... ताकि लोग यातायात नियमों को लेकर जागरूक हो सके.. चेकिंग के दौरान जो भी व्यक्ति बिना हेलमेट और ड्राइविंग लाइसेंस के बिना पकड़े जाएंगे ...उनके खिलाफ सख्ती के साथ चलानी कार्रवाई की जाएगी.. जबलपुर नर्मदा नदी में रविवार की शाम को दो अलग-अलग स्थानों में फंसे चारों ही मछुआरों को सोमवार की सुबह करीब साढ़े छह बजे भोपाल से आई एनडीआरएफ की टीम ने सेना और स्थानीय पुलिस होमगार्ड के साथ मिलकर रस्सी के सहारे बाहर निकल लिया। थाना प्रभारी सफी खान ने बताया कि टापू में फंसे युवक गढ़ा पुरवा के रहने वाले है जिनके नाम मनीष केवट संतोष अमित और शिवम है। पूछताछ में चारों युवकों ने बताया कि मछली मारते समय अचानक पत्थरों में पानी भर गया जिसके चलते फंसकर रह गए। जबलपुर के कब्रिस्तान की जमीने कब्रिस्तान कमेटी का ही सदस्य बने एक शख्स द्वारा उठाया जा रहा है। ताजा हालात उस समय सामने आए जब स्वयं भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा के पूर्व अध्यक्ष आजाद अली स्वयं कब्रिस्तान की जमीन पर पहुंचे और हालात दिखाएं जिसमें बकायदा से कई घर बने हुए थे जिसका लाभ कमेटी का वही सदस्य उठा रहा था। भाजपा अल्पसंख्यक मोर्चा के पूर्व अध्यक्ष आजाद अली द्वारा प्रशासन को ज्ञापन के माध्यम से जानकारी दी गयी है गयी कि गलगला और करिया पाथर कब्रिस्तान कमेटी का सदस्य बन अंजुमन के उपाध्यक्ष मिर्जा नसीम बेग द्वारा स्वयं को वक्फ बोर्ड का सदस्य बताते हुए करिया पाथर कब्रिस्तान की जमीन पर 10 से 12 घर बनवा दिए और उन्हें किराए पर चलाना शुरु कर दिया। इतना ही नहीं इनके द्वारा गलगला कब्रिस्तान की भूमि को भी व्यापारियों को बेच दी ताकि वे अपनी दुकान पीछे से बढ़ा सकें।